दिव्यकीर्ति सम्पादक-दीपक पाण्डेय, समाचार सम्पादक-विनय मिश्रा, मप्र के सभी जिलों में सम्वाददाता की आवश्यकता है। हमसे जुडने के लिए सम्पर्क करें….. नम्बर-7000181525,7000189640 या लाग इन करें www.divyakirti.com ,
Search
Close this search box.

विश्विद्यालय में एक ही कोर्स के अलग-अलग वसूली जा रही फीस,ठगे जा रहे छात्र

 

संस्कृत और संस्कृत का अध्ययन करने वाले छात्रों की संख्या कम होती जा रही है खासकर अंग्रेजी शिक्षा पद्धति ने तो विद्यालयों से संस्कृत का विलोपन ही कर दिया ऐसे में बामुश्किल आजकल पुरोहित और संस्कृत का अध्ययन-अध्यापन करने कराने वाले छात्र और शिक्षक मिलते हैं।
पुरातन काल मे संस्कृत हमारी मूल भाषा हुआ करती थी फिर पाली,प्राकृत,अपभ्रंश होते हुए हिंदी ने बोलचाल,भाषा और पढ़ने का रूप ले लिया और संस्कृत का मूल अधूरा रह गया।
किन्तु संस्कृत पढ़ने वाले छात्रों की रुचि और उनके भविष्य से खिलवाड़ हो तो फिर ऐसे शिक्षक और वहाँ के विश्व विद्यालय पे आरोप लगाना लाजमी है।

शहडोल।।

शम्भूनाथ विश्विद्यालय में कर्मकांड से यूजी डिप्लोमा करने वाले छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रबंधन और अपने विषय विशेषज्ञ शिक्षक पर आरोप लगाते हुए बताया है कि हाल ही में कर्मकांड विषय की परीक्षा आयोजित होने वाले हैं जिसके लिए परीक्षा फार्म भराया गया है किंतु इस परीक्षा फार्म भरने में भी मुह देखी की जा रही है।परीक्षा फार्म भरने की निर्धारित तिथि 1 मई था फार्म की फीस 4300 लिया गया था किन्तु शिक्षक के कुछ चहेते छात्रों के लिए फार्म का यह मापदंड बदल गया और 1 मई के बाद अलग से पोर्टल खोलकर परीक्षा फार्म तिथि 5 मई की गई और उनकी फीस 3200 ली गई है ऐसे में एक ही विश्वविद्यालय में एक ही डिप्लोमा के लिए अलग-अलग मापदंड तय करना कहीं न कहीं विभाग हेड और विश्विद्यालय प्रबंधन पर सवाल खड़े करता है छात्रों ने गुहार लगाया है कि इस भेदभाव के अंतर को दूर करते हुए सभी के छात्रों के साँथ समानता का व्यवहार किया जाए और बाँकी छात्रों के 1100 वापस किए जाएँ।

Divya Kirti
Author: Divya Kirti

ये भी पढ़ें...

error: Content is protected !!